श्याम मेरा होली खेलन आया कन्हैया मेरा होली खेलन आया...
सुंदर मुकुट शीश पर सजता , देख देख मेरा दिल नहीं भरता ऐसी उसने नजर चलाई मुझे प्रेम का रोग लगाया श्याम मेरा होली खेलन आया..
फूलों जैसा श्याम है मेरा , पाए कुंज गलियों में फेरा हंस-हंस के वो बंशी बजाए मन देख देख हरषाया श्याम मेरा होली खेलन आया..
श्याम ने ऐसी धूम मचाई सखियां सब मिल रंग लगाईं बरसाने में प्रेम रस बरसे मेरे मन श्याम रंग लाया श्याम मेरा होली खेले आया..
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